Ugc Net Kya Hai…

यूजीसी नेट की परीक्षा पास करना भारत में सहायक प्रोफेसर बनने के लिए न्यूनतम योग्यता है। इसे उत्तीर्ण करने के बाद आप अपनी पीएचडी के साथ देश में कहीं भी सहायक प्रोफेसर के तौर पर अध्यापन कार्य कर सकते हैं। यूजीसी नेट एग्ज़ाम्स की शुरुआत सन् 1989 90 में हुई।

2009 के दिशानिर्देशों के तहत यूजीसी ने भारत के कालेजों या विश्वविद्यालयों में प्रोफेसर बनने के लिए इस राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा को अनिवार्य कर दिया है। अध्ययनशील युवाओं के लिए यह करियर का एक बेहतर विकल्प है। तो आइये आगे जानते हैं इसके बारे में सबकुछ।

 Ugc Net: Ek Parichay…

यूजीसी नेट भारत में विश्वविद्यालय स्तर पर शिक्षण कार्य करने के लिए एक राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा है। यूजीसी नेट का पूरा नाम यूनिवर्सिटी ग्रांट कमीशन नैशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट अथवा विश्वविद्यालय अनुदान आयोग की राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा।

यह परीक्षा हर छः माह पर यूनिवर्सिटी ग्रांट कमीशन यानी विश्वविद्यालय अनुदान आयोग द्वारा आयोजित की जाती है। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग द्वारा यह परीक्षा पहले सीबीएसई के माध्यम से कराई जाती थी; पर दिसंबर 2018 से यह जिम्मा एनटीए यानी नैशनल टेस्टिंग एजेंसी को मिला है।

सनद रहे कि यूजीसी नेट की परीक्षा उत्तीर्ण करने पर मिलने वाले प्रमाण पत्र की मान्यता जूनियर रिसर्च फेलोशिप या जेआरएफ के लिए तीन साल और प्रोफेसर के लिए आजीवन होती है।

Fellowship…

इसमें तीन प्रकार की फेलोशिप मिलती है..

  • व्याख्याता फेलोशिप; कनिष्ठ शोध फेलोशिप और श्यामा प्रसाद मुखर्जी फेलोशिप।
  • यूजीसी नेट एग्ज़ाम्स के लिए आवश्यक योग्यता – ugc net exams ke liye aavsshyak yogyata…

यूजीसी नेट परीक्षा में बैठने के लिए सामान्य वर्ग के अभ्यर्थियों को किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से स्नातकोत्तर की डिग्री कम से कम पचपन फीसदी अंकों के साथ उत्तीर्ण करना अनिवार्य है। अन्य के लिए यह मानक पचास प्रतिशत है। इसके लिए कोई आयु की सीमा नहीं है।

जेआरएफ यानी जूनियर रिसर्च फेलोशिप के लिए पहले 28 वर्ष की उम्र निर्धारित थी; जिसे बढ़ाकर अब 30 वर्ष कर दिया गया है।

वे अभ्यर्थी भी यूजीसी नेट परीक्षा के लिए अर्ह होंगे जो अपनी स्नातकोत्तर अर्थात मास्टर डिग्री का इम्तिहान देने वाले हैं; यानी अंतिम वर्ष में हैं। हालांकि इसके बावजूद प्रोफेसर बनने के लिए आपको मास्टर डिग्री में 55 प्रतिशत अंक लाने ही होंगे।

इसी प्रकार जो 19 सितंबर सन् 1991 के पहले स्नातकोत्तर पास कर चुके हैं उनके अगर पचास प्रतिशत अंक भी हैं तो वे यूजीसी नेट का इम्तिहान दे सकते हैं।

Ugc Net Ke Liye Vishayon Ka Chunaav…

Ugc Net Kya Hai

पोस्ट ग्रेजुएशन में लिए गए विषय के साथ ही यूजीसी नेट एग्ज़ाम्स में शामिल हुआ जा सकता है। आर्ट्स स्ट्रीम के कुल 94 विषय यूजीसी नेट इम्तिहान के लिए चयनित हैं; जिसमें विदेशी भाषायें भी शामिल हैं। यूजीसी नेट परीक्षा में शामिल विषयों की अद्यतन सूची इस वेबसाइट पर भी आसानी से देखी जा सकती है .. www.ugc.ac.in www.cbse.nic.in

Ugc Net Ka Exam Pattern…

यह इम्तिहान दो पाली में होता है; और एक पाली में एक पेपर यानी कुल दो पेपर होते हैं। यह एग्ज़ाम पूरी तरह कम्प्यूटराइज्ड है; इसलिये दोनों पेपर कंप्यूटर

सिस्टम पर ही देने होंगे। जिसके लिए आपको अपना भाषा माध्यम भी चुनना होता है; जो हिंदी या अंग्रेजी में से एक हो सकता है। इस इम्तिहान में तीन सौ अंकों के कुल मिलाकर डेढ़ सौ वैकल्पिक प्रश्न आते हैं।

पहले पेपर में सौ अंकों के कुल पचास वैकल्पिक टाइप के प्रश्न आते हैं। ये सारे प्रश्न सामान्य जागरूकता अर्थात जनरल अवेयरनेस से संबंधित होते हैं। जिनका उत्तर देने के लिए अभ्यर्थी को एक घंटे का वक्त मिलता है। यह क्वालिफाइंग पेपर होता है;

जिसे पास करने के लिए इसमें सामान्य वर्ग के परीक्षार्थियों को कम से कम चालीस प्रतिशत मार्क्स लाना अनिवार्य होता है। जबकि अन्य को कम से कम पैंतीस फीसदी।

इसी तरह दूसरी पाली यानी दूसरे पेपर में भी कुल दो सौ अंकों के सौ वस्तुनिष्ठ प्रश्न पूछे जाते हैं। जिसका ज़वाब देने के लिए परीक्षार्थियों को दो घंटे का समय मिलता है। ध्यान रखें कि इस परीक्षा में उत्तीर्ण होने को सामान्य वर्ग के अभ्यर्थियों के लिए कम से कम 80 फीसदी अंक पाना जरूरी है। जबकि अन्य के लिए यह सत्तर प्रतिशत है।

बता दें कि यूजीसी नेट एग्ज़ाम्स में नकारात्मक अंकेक्षण यानी माइनस मार्किंग नहीं होती।

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ugc net pareeksha ka pathyakram yani syllabus…

Ugc Net Kya Hai

किसी भी इम्तिहान में बैठने के लिए उसकी तैयारी करने से पहले उसका सिलेबस अच्छी तरह जान लेने से काफी सहूलियत मिलती है। इससे हम उस एग्ज़ाम की तैयारी करने के लिए चरणबद्ध तरीके से प्लान बना पाते हैं।

इसी प्रकार यूजीसी नेट एग्ज़ाम्स की तैयारियों के पहले हमें ये जान लेना जरूरी है कि इसके दोनों पेपर अलग टाइप के आते हैं। जिसमें पहले पेपर के अंतर्गत शिक्षण और सामान्य ज्ञान के सवाल पूछे जाते हैं।

जबकि यूजीसी नेट का दूसरा पेपर आपके द्वारा चुने गए विषय का होता है; जिसका अध्ययन आप पहले स्नातकोत्तर स्तर पर भी कर चुके होते हैं। इस पेपर के लिए सभी विषयों का अलग सिलेबस होता है। जिसे आप इसकी प्रामाणिक वेबसाइट https: www.ugc.ac.in से डाउनलोड कर सकते हैं।

Ugc Net Exams Ka Samay…

छः माह के अंतराल पर वर्ष भर में दो बार होने वाले इस इम्तिहान के लिए मार्च और सितंबर में कुल दो बार अधिसूचना ज़ारी की जाती है। जबकि इनके एग्ज़ाम्स का आयोजन क्रमशः जून और दिसंबर में होता है।

Ugc Net Exams Ki Taiyari Kaise Karen…

यूजीसी नेट के इम्तिहान अखिल भारतीय स्तर पर आयोजित किये जाते हैं जिसमें एक से बढ़कर एक कैंडिडेट्स होते हैं। इसीलिये इस एग्ज़ाम के लिए आपको विशेष रणनीति के साथ अपनी तैयारी करनी होती है। हम यहां कुछ ऐसी टिप्स की बात करेंगे जिन्हें अपनाकर आप यूजीसी नेट के इम्तिहान में सफल हो सकते हैं।

  • सिलेबस कायदे से देखकर उसके अनुसार चरणबद्ध तरीके से अध्ययन की योजना बनायें। इससे आपका पूरा पाठ्यक्रम क्रमबद्ध तरीके से पूरा होता जाता है और उसका कोई भी पहलू छूटने नहीं पाता।
  • नोट्स बनायें; ताकि समयानुसार उसे दोहराते रह सकें। ध्यान रखें कि किसी भी विषय को स्मृति में बनाये रखने के लिए उसे अनेकों बार दोहराना सबसे कारगर उपाय है।
  • यूजीसी नेट परीक्षा में पिछले कुछ साल आये पेपर्स देखें और उसके मुताबिक अपनी तैयारी बनायें।
  • अक्सर लोग लापरवाही में आकर तैयारी के लिए यूजीसी नेट एग्ज़ाम्स की डेट नजदीक आ जाने तक इंतज़ार करते रहते हैं जो कि एक गलत रणनीति है। क्योंकि हो सकता है कि ऐसे में आप अपना सिलेबस ही न पूरा कर पायें और आपका पेपर गड़बड़ हो जाय। इससे बचने के लिए यूजीसी नेट एग्ज़ाम्स की तैयारियों में समय प्रबंधन यानी टाइम मैनेजमेंट को भी शामिल करें। अक्सर देखा जाता है कि किसी सवाल का ज़वाब परीक्षार्थी जानते हुए भी सिर्फ इसलिये नहीं दे पाता क्योंकि उसके लिए वक्त ही नहीं बचता। यह भी टाइम मैनेजमेंट की कमी या कोताही से ही होता है। इसलिये ऐसी दिक्कतों से बचे रहने के लिए टाइम मैनेजमेंट का अभ्यास बहुत जरूरी है।
  • चूंकि यूजीसी नेट परीक्षा में नेगेटिव मार्किंग की व्यवस्था नहीं है इसलिये किसी भी अभ्यर्थी को सारे प्रश्नों का उत्तर देने का प्रयास करना चाहिए।

Frequently Asked Questions

1.. नेट क्वालीफाई करने के लिए कितने अंक चाहिए..

ज़वाब..

यूजीसी नेट परीक्षा में दो प्रश्नपत्र होते हैं। परीक्षा उत्तीर्ण करने के लिए सामान्य वर्ग के अभ्यर्थियों को पहले पेपर में 40 और दूसरे में 80 फीसदी अंक चाहिए होते हैं। जबकि अन्य दूसरे वर्गों के लिए यह मानक पहले और दूसरे पेपर के लिये क्रमशः 35 व 70 प्रतिशत है।

2.. नेट क्वालीफाई करने के बाद मैं क्या कर सकता हूँ..

ज़वाब..

यूजीसी नेट की परीक्षा पास करने वाले उम्मीदवार ने यदि स्नातकोत्तर स्तर पर पचपन प्रतिशत अंक भी पाये हैं तो वह किसी कालेज या यूनिवर्सिटी में सहायक प्रोफेसर बन सकता है। इसके अलावा यूजीसी नेट क्वालीफाई करने के बाद आप अपनी पीएचडी की पढ़ाई भी पूरी कर सकते हैं।

वहीं जूनियर रिसर्च फेलोशिप यानी जेआरएफ के लिए भी नेट क्वालीफाई करना जरूरी होता है।

3.. नेट कितने साल का होता है..

ज़वाब..

यह पांच साल का होता है।

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Lakhak Ke Baare Me:-

MuffleIt.com के संस्थापक और सीईओ शशांक जैन, एक युवा और ऊर्जावान उद्यमी हमेशा से तकनीक के शौकीन रहे हैं। तकनीक के प्रति उनकी पसंद ने उन्हें कंप्यूटर में इंजीनियरिंग के लिए प्रेरित किया। अपनी पढ़ाई के दौरान, उन्होंने HBCD, Linux, आदि सहित विभिन्न कंप्यूटर भाषाओं और OS पर सीखा और काम किया। उन्हें एथिकल हैकिंग में भी गहरी रुचि है।

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