MORBI: पिछले एक दशक में देश में अब तक की सबसे भीषण तबाही में रविवार की रात लटकते पुल के गिरने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 135 हो गई, इस त्रासदी के बारे में कई सवाल अनुत्तरित हैं।
गुजरात की मोरबी घटना के बारे में जनता को चाहिए इन 5 सवालो के जवाब
1. पुल के रखरखाव का ठेका एक निजी इंजीनियरिंग फर्म को दिया गया था। क्या अधिकारियों ने उप-ठेकेदार की साख की जांच की?
2. मोरबी नगर पालिका और ओरेवा समूह के मार्च 2022 अनुबंध का अनुमान है कि मरम्मत के लिए पुल 8 से 12 महीने तक बंद रहेगा। सातवें महीने में जनता के लिए खोले जाने पर पुल की क्षमता और सुरक्षा प्रमाणपत्रों की जाँच किसने की?
3. मोरबी नगर पालिका के अधिकारियों ने यह कहते हुए पैसा कमाया कि पुल को ‘उनकी जानकारी के बिना’ बिना अनिवार्य ‘फिटनेस प्रमाणपत्र’ के खोला गया था। पुल को जनता के लिए खोले जाने से अधिकारी कैसे बेखबर थे? प्रशासन ने मोरबी शहर के सबसे बड़े सार्वजनिक आकर्षण पर प्रगति को ट्रैक क्यों नहीं किया?
4. ठेका एजेंसी ओरेवा ग्रुप ने बिना सीरियल नंबर के टिकट जारी किए? पुल पर ट्रैफिक को ट्रैक करने में नाकाम रहने के कारण नगर पालिका ने इस विसंगति को कैसे होने दिया?
5. स्थानीय नगर पालिका अधिकारियों का कहना है कि 143 साल पुराने पुल को एक बार में 125 दर्शकों के लिए बनाया गया है। कैसे अनुमानित 450 आगंतुकों को पुल पर अनुमति दी गई थी?
READ MORE : मोदी जी हो रहे बुरी तरह Troll Act Of God VS Act Of Fraud